मंगलवार, 22 अप्रैल 2014
रविवार, 20 अप्रैल 2014
मंगलवार, 15 अप्रैल 2014
सोमवार, 14 अप्रैल 2014
सदस्यता लें
संदेश (Atom)
मैं क्या हूँ /जन्म लेना और पलना मेरे हाथ में नहीं था / पर खूब प्यार से पली /कोई दुख -दर्द नहीं /एक प्रेमिल मन के हाथों आँचल इतना भरा कि सब कुछ भीग गया /लिखना कम पढना अधिक /साहित्य से अच्छे पाठक का नाता बना रहा / अभी भी बना हुआ है/ नारी मन को समझने का प्रयास मात्र /और क्या --